Wednesday, February 8, 2012

Haryana Police: चरखी दादरी: जेबीटी टीचर्स से भी कम वेतन सुविधाएं पाते है पुलिसकर्मी, दूसरे संगठनों ने पुलिस के पक्ष में उठाई आवाज..

प्रदेश में कार्यरत पुलिस कर्मियों के वेतनमानों, उनके सेवा नियमों, ड्यूटी इत्यादि में कथित तौर पर बरती जा रही नाइंसाफी को लेकर यहां के विभिन्न संगठनों, पंचायतों से जुडे़ लोगों ने आवाज उठाई है। सर्व कर्मचारी संघ के पूर्व जिला महासचिव मास्टर ओमप्रकाश शर्मा, गांव कासनी के पूर्व सरपंच रणबीर सिंह उर्फ लालू, गांव ऊण के पूर्व सरपंच दयाकिशन, गांव रानीला के पूर्व सरपंच बलवंत सिंह, सहकारी मंच हरियाणा के प्रदेशाध्यक्ष रामनिवास मिर्च, श्री बालानाथ योगाश्रम के संचालक आचार्य देवी सिंह इत्यादि ने आज यहां जारी अपने संयुक्त बयान में कहा है कि पुलिस कर्मचारी सभी नेताओं, अफसरों की रक्षा करते हैं तथा कानून एवं व्यवस्था की स्थिति बनाए रखते हैं। प्रदेश में अगर किसी कर्मचारी की 24 घंटों डयूटी है तो वह पुलिस कर्मचारी की है। इसके बावजूद वेतनमानों व अन्य सुविधाओं के मामले में वे काफी पिछड़े हुए हैं। इनके मुकाबले में जेबीटी टीचर जिसकी डयूटी मात्र 6, 7 घंटे है। पुलिस कर्मियों का वेतन 40 फीसदी वेतन कम है। हरियाणा के पुलिस कर्मी कानून से बंधे हैं। वे यूनियन नहीं बना सकते। अन्य सभी कर्मचारी सरकार पर आंदोलन के जरिए अथवा अन्य तरीकों से दबाव डालकर अपनी मांगें मनवा लेते हैं लेकिन पुलिस कर्मी ऐसा नहीं करते। अभी हाल में ही पंजाब सरकार ने पुलिस कर्मियों के वेतनमान जेबीटी टीचर्स के समान कर दिया है। हरियाणा सरकार को भी कम से कम पुलिस कर्मियों को जेबीटी टीचर्स के समान तो वेतनमान देने ही चाहिए। चाहे टीचर्स हो या या कोई ओर जरूरत के अनुसार महंगाई को देखते हुए उनके वेतनमान बढ़ावा भी जरूरी है लेकिन पुलिस कर्मियों के साथ किए जा रहे भेदभाव को समाप्त किया जाना चाहिए। उन्होंने विभिन्न कर्मचारी संगठनों से आग्रह किया है कि वे भी पुलिस कर्मियों की जायज मांगों को अपने मंचों से उठाए। बयान में कहा गया है कि इस बारे में समाज के सभी वर्गो को पुलिस कर्मियों को न्याय दिलाने के लिए आगे आना चाहिए।

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